सरपंच ने की शिक्षक की शिकायत,
सिहोरा- सिहोरा विकासखंड क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले ग्राम कुरे के सरपंच गजेंद्र सिंह के द्वारा पंचायत में स्थित माध्यमिक शाला कुर्रो पिपरिया में पदस्थ प्रधान अध्यापक पीके पांडे की कार्यशाली पर सवाल उठाते हुए जबलपुर कलेक्टर को लिखित शिकायत की है जिसमें सरपंच ने बताया कि हमारी पंचायत ग्राम कुर्रो पिपरिया अंतर्गत शासकीय माध्यमिक शाला कुर्रो पिपरिया में शिक्षक पी के पांडे प्रधान अध्यापक के रूप में विगत 4 वर्षों से अस्थाई रूप से कार्यरत हैं जिनकी कार्य शैली की शिकायतें ग्राम पंचायत स्तर पर लगातार प्राप्त हो रही हैं जिनके इस व्यवहार के चलते विद्यालय में शिक्षा का स्तर लगातार गिरता जा रहा है जिसके सन्दर्भ में विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी को भी सूचित किया गया था।वहीं शिक्षक पी के पांडे की शिकायत विगत दिवस जबलपुर कलेक्टर एवं चुनाव आयोग को भी की थी। चुनाव आयोग के द्वारा संबंधित शिक्षक को तत्काल कार्यमुक्त कर मूल शाला में जोइनिंग करने लेकर जबलपुर कलेक्टर के माध्यम से जिला शिक्षा अधिकारी को कार्यवाही करने कहा गया था जिसके परिपालन में जिला शिक्षा अधिकारी ने विकासखंड शिक्षा अधिकारी को शिक्षक पी के पांडे को मूल शाला में स्थानांतरित किया गया था जिस पर कार्यवाही करते हुए विकासखंड शिक्षा अधिकारी शासकीय माध्यमिक शाला कुर्रो पिपरिया से उन्हें कार्यमुक्त कर शासकीय उच्चतर माध्यमिक कन्या शाला सिहोरा में पदस्थ करने के आदेश दिए गए थे साथ ही विकासखंड शिक्षा अधिकारी ने 31 मार्च 2024 को शिक्षक पी के पांडे को शासकीय माध्यमिक शाला कुर्रो पिपरिया से कार्य मुक्त कर उनकी मूल साल शासकीय कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सिहोरा में जॉइनिंग के आदेश दिए गए किंतु कार्य मुक्त होने के उपरांत भी शिक्षक पी के पांडे के द्वारा अब तक कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सिहोरा में जॉइनिंग नहीं दी गई और यह लगातार शासकीय माध्यमिक शाला कुर्रो पिपरिया में बने हुए हैं जो आदेश की अवहेलना दर्शाता है।

जिला कलेक्टर जबलपुर को लिखे गए पत्र में सरपंच ग्राम पंचायत कुर्रो पिपरिया गजेंद्र सिंह ने बताया कि विद्यालय के प्रधान अध्यापक पीके पांडे के द्वारा शासन के निर्देशों की अवहेलना करते हुए एवं आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन करते हुए छुट्टी पर हैं जबकि आचार संहिता के दौरान किसी भी प्रकार का अवकाश लेना का प्रावधान नहीं है इस प्रकार यह मनमानी तरीके से साल को चला रहे हैं इनका साल में आने-जाने का कोई निश्चित समय भी नहीं है उनके इस व्यवहार के कारण लगातार विद्यालय में शिक्षा का स्टार गिरता जा रहा है शिक्षक के इस रवैया से ग्रामीण जन बच्चों का दाखिला साल में भी नहीं कर रहे और मजबूरन इन्हें बच्चों के भविष्य की चिंता को देखते हुए निजी स्कूलों में प्रवेश के लिए मजबूर होना पड़ रहा है इस प्रकार शाला में प्रतिवर्ष बच्चों की संख्या भी काम हो रही है जिला कलेक्टर को लिखे पत्र में सरपंच गजेंद्र सिंह के द्वारा अनुरोध किया गया कि शिक्षक को हम गांव के इस विद्यालय में नहीं रखना चाहते अतः उन्हें इस विद्यालय से कार्य मुक्त कर मूल शाखा में पदस्थ किया जाए मैं आपको अवगत कराना चाहता हूं कि अपने विद्यालय के शैक्षणिक स्तर को सुधारने का पूर्ण प्रयास किया जा रहा है जिस पर ग्रामीण जन भी सहयोग कर रहे हैं जिस विद्यालय में विद्यार्थियों की संख्या बढ़े और विद्यालय को सुचारू रूप से अच्छे शिक्षक संचालित कर सकें।